जासूस फेलु दा : सिर पर न हैट, न कोई स्टाइल
नई दिल्ली। बंगाल में जासूसी कहानियां बेहद लोकप्रिय रही हैं। इसका प्रारंभ बकाउल्लाह और प्रियनाथ मुखोपाध्याय ने किया था। जासूसी लेखन का अध्ययन करने पर पता चलता है कि ज्यादातर…
जासूस जिंदा है, एक कदम है जासूसी लेखन की लुप्त हो रही विधा को जिंदा रखने का। आप भी इस प्रयास में हमारे हमकदम हो सकते हैं। यह खुला मंच है जिस पर आप अपना कोई लेख, कहानी, उपन्यास या कोई और अनुभव हमें इस पते jasooszindahai@gmail.com पर लिख कर भेज सकते हैं।
नई दिल्ली। बंगाल में जासूसी कहानियां बेहद लोकप्रिय रही हैं। इसका प्रारंभ बकाउल्लाह और प्रियनाथ मुखोपाध्याय ने किया था। जासूसी लेखन का अध्ययन करने पर पता चलता है कि ज्यादातर…
रश्मि वैभव गर्ग रवि और रीना को यूं अचानक आया देख कर, शिवी आश्चर्यचकित हो गई। अरे भैया आप? आज कैसे रास्ता भूल गए? यह भी आते ही होंगे, बहुत…
अतुल मिश्र अंधेरा होने की वजह से रात का वक्त था। पहरेदार की सीटी बता रही थी कि पहरा बहुत सख्त था। श्वान-पुत्र अपनी मौजूदगी जता रहे थे। ‘जागते रहो’…
नई दिल्ली। क्या अपने कभी केशव पंडित का नाम सुना है? वैसे जासूसी उपन्यास पढ़ने वाले इस नाम से अनजान न होंगे। प्रसिद्ध उपन्यासकार वेद प्रकाश शर्मा का यह चर्चित…
अतुल मिश्र अच्छी रचनाओं की पहचान के अभाव में, अखबारों-पत्रिकाओं के संपादक जब किसी लेखक को छापना बंद कर देते हैं, तब कोई लेखक अपनी वेबसाइट बना कर अपने पाठकों…
पटना। मैथिली और हिंदी की विख्यात लेखिका उषा किरण खान का पिछले दिनों निधन हो गया। वे कुछ दिनों से अस्वस्थ थीं। उन्हें सांस लेने में दिक्कत हो रही थी।…
-संतोषी बघेल तुम्हारी मुस्कुराहटों में लिपटी हैमेरी आंखों की नमी,मेरे शब्दों में उकरते प्रेम मेंतुम्हारे विराग की कसक है,कभी पिघलती हूं तुम्हारे खयाल से,कभी तुम्हारा प्रणमुझे कठोर बना जाता है।…
जब मन में भाव उमड़ते हैं तो शब्दों के माध्यम से कागज पर उतरते हैं। उन शब्दों को पढ़ कर फिर कुछ भाव उमड़ते हैं, तब मन में विचारों की…
- डा. शशि रायजादा लखनऊ। लगभग ढाई सौ से ऊपर जासूसी उपन्यास लिखने वाले अपने समय के चर्चित लेखक असरार अहमद उर्फ इब्ने सफी इलाहाबाद जिले के नारा कस्बे में…
नई दिल्ली। प्रगति मैदान में विश्व पुस्तक मेला शुरू होते ही पढ़ने-लिखने वाले संजीदा पाठक उमड़ पड़े। शनिवार का छुट्टी का दिन और खिली धूप। लिहाजा बड़ी संख्या में बच्चे…