संजय स्वतंत्र
कुछ साल पहले मैंने सोफिया नाम की स्त्री रोबोट और एक टीवी चैनल के पत्रकार आकाश के संबंध पर कहानी लिखी थी। यह कई जगह छपी और तो कुछ वेबसाइट पर प्रकाशित भी हुई। कई पाठकों और मित्रों ने इस पर सवाल उठाए। इसे पुरुषों की हताशा बताया। स्त्री मित्रों ने चिंता जताई कि क्या स्त्री रोबोट पुरुषों के जीवन का जरूरी हिस्सा हो जाएगी। क्या वो रोबोट इतनी संवेदनशील होगी जो एक पुरुष की भावनाओं और जरूरत को समझ सके। इसका जवाब था- हां। ऐसा होगा। कृत्रिम मेधा से लैस स्त्री रोबोट आने वाले दशकों में वह सब कुछ कर सकती है, जो एक सामान्य स्त्री कर सकती है।
लीजिए अब बात तो शादी तक पहुंच गई है। आपने ध्यान दिया हो या नहीं, मगर पिछले दिनों शाहिद कपूर और कृति सेनन की फिल्म ‘तेरी बातों में ऐसा उलझा जिया’ में निर्देशकों ने एक कल्पना की कि पुरुष रोबोट वूमन से शादी करने की सोच सकता है, चाहे वह व्यावहारिक हो या न हो या समाज उसे मान्यता दें या नहीं। शाहिद कपूर इस फिल्म में रोबोटिक्स इंजीनियर बने हैं। यानी वो रोबोट की सीमाओं को जानते हैं।
जैसा कि मैंने कहानी ‘सोफिया आ रही है’ में बताया है कि एक रोबोट वूमन घर संभालने से लेकर गाड़ी चलाने या साथी के साथ नाचने-गाने से लेकर सभी रिश्ते बना सकती है तो इस पर आश्चर्य किया गया था। इस फिल्म में अपनी देखभाल के लिए नियुक्त सिफ्रा नाम की रोबोट वूमन से तो शाहिद कबूर प्यार ही कर बैठे। यह जानते हुए कि सिफ्रा (कृति सेनन) एक रोबोट है। बेशक वह सुंदर है। भावुक है। वह प्यार जताना जानती है, मगर मानवीय परिवेश में वह कैसी प्रतिक्रिया देगी, यह जानने के लिए शाहिद कपूर उसे घर ले जाते हैं। वे उससे शादी करना चाहते हैं। घरवालों को बता भी देते हैं। क्या उनकी शादी हो पाएगी, यह तो फिल्म देखने पर आपको मालूम होगा।
…तो आर्टिफिशयल इंटेलिजेंस से लैस रोबोट तमाम प्रोफेशनल के लिए या तो उनकी नौकरी के लिए खतरा बनेंगे या उनके बेहतरीन सहयोगी साबित होंगे। निजी जीवन में भी उनकी भूमिका बढ़ सकती है। जैसा कि फिल्म के निर्देशक अमित जोशी और आराधना शाह ने दिखाया। स्त्री और पुरुष रोबोट जितने संवेदनशील बनते जाएंगे वे सामान्य महिलाओं और पुरुषों के मित्र भी बनते जाएंगे। परस्पर सहयोग करेंगे। दोनों के रिश्ते बेहद मजबूत होंगे। उनके दिल मशीनी ही सही पर आपके लिए धड़केंगे।
बहुत दूर जाने या कल्पना में डूबने की जरूरत नहीं। गूगल का नया एआई टूल जेमिनी ने बता दिया है कि वह महिला के रूप में आएगी तो कैसा जीवन जियेगी। सोफिया ने तो इससे पहले एक कदम बढ़ कर अपना घर बसाने का इरादाा जता दिया था। वहीं जैमिनी ने तो साफ कर दिया है कि उसे शांत और परिपक्व पुरुष पसंद है। वह सम्मान देने वाले और वफादार दोस्त को पसंद करेगी। वह पुरुष आकर्षक हो यह उतना जरूरी नहीं, मगर रोमानी हो। अगर पुरुष रोबोट होगा तो ऐसे ही गुणों वाली महिला को पसंद करेगा। रोबोट स्त्री हो या पुरुष प्यार उन्हें भी चाहिए। सम्मान उन्हें भी चाहिए। मगर इतना तय है कि स्त्री रोबोट पुरुषों के बराबर समानता चाहेंगी। फिर मौजूदा जीवन में व्यावहारिक रूप से समानता क्यों न लाएं।
जो भी हो ये रोबोट अद्भुुत हो सकते हैं। वे उड़ सकते हैं। गायब हो सकते हैं। आप उन्हें धोखा नहीं दे सकते। क्योंकि वे आपका दिमाग पढ़ने में सक्षम होंगे। आप उसकी संवेदना को महसूस कर जितना सम्मान देंगे। प्यार करेंगे। बराबरी का दर्जा देंगे, वह निश्चित रूप से आपके विश्वस्त सहयोगी और साथी बनेंगे। ध्यान रहे वह भी फैसला करने का अधिकार रखेंगे जितना कि अभी आपकी साथी रखती है। इससे पहले कि दो-तीन दशक में घर और दफ्तर का परिदृश्य न बदल जाए, आप सम्मान कीजिए मौजूदा साथी का। सहयोगियों का। (फेसबुक वाल से)